शांतिपूर्ण माहौल में संपन्न हुई अहमदाबाद में 145वीं रथयात्रा, श्रद्धालुओं से पटी सड़कें

अहमदाबाद | अषाढी दूज के अवसर पर अपने भक्तों को दर्शन देने निकले भगवान जगन्नाथजी के देर रात निज मंदिर में लौटन के साथ ही 145वीं रथयात्रा हर्षोल्लास और शांतिपूर्ण माहौल में संपन्न हो गई| सुबह 7.00 बजे नगर यात्रा पर निकले भगवान जगन्नाथजी लाखों श्रद्धालुओं को दर्शन देते हुए रात करीब 8.15 बजे निज मंदिर लौट आए| अहमदाबाद के जमालपुर क्षेत्र स्थित जगन्नाथजी के मंदिर में शुक्रवार की सुबह केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने तड़के मंगला की| मंगला आरती के बाद भगवान को खीचड़ी, कद्दू, गुवार फली और दही का विशिष्ट भोग लगाया गया| जिसके पश्चात भगवान जगन्नाथजी, बहन सुभद्रा और बड़े भाई बलरामजी अलग अलग तीन रथों पर बिराजमान हुए| भगवान के रथ में सवार होने के बाद राज्य के मुख्यमंत्री भूपेन्द्र पटेल ने पहिन्द, सोने की झाड़ू से रास्ते की प्रतीकात्मक सफाई की और 145वीं ऐतिहासिक रथयात्रा का प्रारंभ करवाया| सुबह 7.00 बजे प्रारंभ हुई जगन्नाथजी की रथयात्रा में 16 गजराज, भारतीय संस्कृति की दर्शन कराते 101 ट्रक और टेब्लो, 30 जितने अखाड़े, 18 भजन और रास मंडलियां, 3 म्यूजिकल बैंड, 1200 खलासी और देश के विभिन्न तीर्थ स्थलों से आए 2500 से भी ज्यादा साधु-संतों के साथ बड़ी संख्या में श्रद्धालु रथयात्रा में शामिल हुए| शहर के मार्ग पर भगवान जगन्नाथजी के दर्शन के लिए श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ पड़ा| जय रणछोड़-माखन चोर के गगनभेदी जयकारे से समूचा शहर गूंज उठा| जमालपुर से सुबह प्रारंभ हुई भगवान जगन्नाथजी की रथयात्रा शहर के जमालपुर चकला, वैश्यसभा, गोल लीमडा होते हुए अहमदाबाद महानगर पालिका कचहरी पहुंची| जहां अहमदाबाद के महापौर किरीट परमार ने रथयात्रा समेत जगन्नाथजी मंदिर के महंत दिलीपदासजी महाराज का स्वागत किया| मनपा कचहरी से प्रस्थान करने के बाद रथयात्रा आस्टोडिया चकला, मदन गोपाल की हवेली, रायपुर चकला, खाडिया दरवाजा, खाडिया चार रास्ता, पांचकूवा, कालूपुर सर्कल से कालूपुर ब्रिज होते हुए दोपहर को भगवान जगन्नाथजी के ननिहाल सरसपुर पहुंची| भगवान जगन्नाथजी के सरसपुर स्थित ननिहाल में हजारों श्रद्धालुओं ने प्रसाद ग्रहण किया| कुछ देर के विश्राम के बाद भगवान जगन्नाथजी ने निज मंदिर की ओर प्रस्थान किया और कालूपुर ब्रिज, कालूपुर सर्कल से होते हुए प्रेम दरवाजा, जोर्डन रोड, दिल्ली दरवाजा, हलीम की खड़की, शाहपुर दरवाजा, शाहपुर चकला, घीकांटा रोड, पानकोर नाका, माणेक चौक, गोल लीमडा, खमासा और जमालपुर दरवाजा से होते हुए देर रात मंदिर लौट आए| 18 किलोमीटर लंबे रूट की रथयात्रा के दौरान शहर की सड़कों पर श्रद्धालुओं को सैलाब उमड़ पड़ा| जय रणछोड़-माखन चोर के जयकारे से शहर गली-मुहल्ले गूंज उठे| रथयात्रा के दौरान 3 हजार किलो मूंग, 500 किलो जामून, 300 आम, 400 किलो ककड़ी के अलावा चॉकलेट इत्यादि श्रद्धालुओं को प्रसाद स्वरूप वितरण किया गया| अहमदाबाद में रथयात्रा के पूरे रूट पर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे| खासकर शहर के शाहपुर और दरियापुर जैसे संवेदनशील क्षेत्रों में सुरक्षा को लेकर विशेष सतर्कता रखी गई| रथयात्रा को लेकर शहर के दरियापुर और शाहपुर क्षेत्र को अतिसंवेदनशील क्षेत्र माना जाता है और इन दोनों इलाकों में सुरक्षा के खास इंतजाम किए जाते हैं| खासकर हाल के दिनों की कुछ घटनाएं और आतंकी हमले की धमकी को ध्यान में रखते हुए रथयात्रा की सुरक्षा में कोई कसर नहीं छोड़ी गई| पहली बार पेरामोटरिंग और हेलिकॉप्टर से रथयात्रा का निरीक्षण किया गया| इस बार हाईटेक्नोलोजी के साथ 25000 से ज्यादा पुलिस जवानों की तैनाती की गई थी| साथ ही पेरामिलिटरी फोर्स, एसआरपी और चेतक कमांडो को भी संवेदनशील इलाकों में तैनात किया जाएगा| रथयात्रा के दौरान कानून-व्यवस्था बरकरार रहे, इसके लिए पुलिस ने पहले ही मेगा रिहर्सल किया था| जिसका मकसद था कि योजना में अगर कोई कमी हो तो उसका तत्कालन समाधान कर सुचारू आयोजन किया जा सके| रथयात्रा की सुरक्षा में 4 डीआईजी, 20 एसपी, 38 डीसीपी, 60 डीवायएसपी, 150 पीआई, 300 पीएसआई, 2000 पुलिस जवान, एसआरपी की 21 कंपनी, पेरा मिलिटरी फोर्स की 25 टीम, सेंट्रल पेरा मिलिटरी फोर्स की 22 कंपनी, बोडी वॉर्न कैमरे से लैस जवान समेत कुल 25000 से अधिक पुलिस जवानों को तैनात किया गया| अहमदाबाद की रथयात्रा में पहली बार पेरामोटर का उपयोग किया गया| आकाश में उडने वाले पेरामोटर का उपयोग किया गया| ड्रोन के साथ-साथ पेरामोटर से भी रथयात्रा पर नजर रखी गई| इसके लिए पुलिस ने अहमदाबाद के जीएमडीसी ग्राउंड में पेरामोटर का ट्रायल भी किया था| पेराग्लाइडिंग के जरिए आकाश से जमीन पर नजर रखी गई| पुलिस जवानों पेराग्लाइड कर आकाश से रथयात्रा पर बाज नजर बनाए रखी| गोकार्ट के साथ पेराशूट से जुड़े वाहन का भी उपयोग किया गया|रथयात्रा की सुरक्षा के लिए 1.50 करोड़ रुपये का बीमा भी लिया गया था| अहमदाबाद के अलावा राजकोट, भावनगर, वडोदरा और सूरत समेत राज्य के कई शहरों में छोटी-बड़ी रथयात्रा में भगवान जगन्नाथजी का दर्शन करने श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ा| अहमदाबाद समेत राज्यभर में शांतिपूर्ण माहौल में रथयात्रा के शांतिपूर्ण माहौल में संपन्न होने से पुलिस-प्रशासन ने राहत की सांस ली|

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