अहमदाबाद | गुजरात माध्यमिक एवं उच्च माध्यमिक बोर्ड द्वारा कक्षा 12 की परीक्षाएं 1 जुलाई 2021 से ली जाएंगी| मुख्यमंत्री विजय रूपाणी की अध्यक्षता में हुई उच्चस्तरीय बैठक ने राज्य में कोरोना संक्रमण के मौजूदा विशिष्ट हालात में कक्षा बारहवीं की बोर्ड परीक्षाओं के आयोजन को लेकर विस्तृत विचार-विमर्श के बाद यह महत्वपूर्ण निर्णय किया है। शिक्षा मंत्री श्री भूपेन्द्रसिंह चूड़ास्मा और शिक्षा राज्य मंत्री श्रीमती विभावरीबेन दवे ने इस संबंध में जानकारी देते हुए कहा कि पूरे राज्य में कक्षा १२वीं विज्ञान संकाय के करीब 140000 और सामान्य संकाय के 543000 विद्यार्थियों सहित कुल 683000 विद्यार्थी इस परीक्षा में शामिल होंगे। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री ने इस बैठक में राज्य के विद्यार्थियों के करियर निर्माण के लिए अहम इस 12वीं बोर्ड की परीक्षाएं कोरोना संक्रमण की विशिष्ट परिस्थिति में कोविड-19 प्रोटोकॉल के सख्त पालन के साथ आयोजित करने के निर्देश शिक्षा विभाग को दिए हैं। शिक्षा मंत्री ने कहा कि यह परीक्षा हर वर्ष की स्थापित प्रणाली के अनुसार आयोजित होगी। जिसके अंतर्गत विज्ञान संकाय भाग-1 की 50 अंकों की परीक्षा ओएमआर (ऑप्टिकल मार्क रिकॉग्निशन) शीट पर मल्टी च्वाइस क्वेश्चन (एमसीक्यू) यानी बहुविकल्पीय प्रश्नों (वस्तुनिष्ठ) पर आधारित होगी जबकि भाग-2 की 50 अंकों की परीक्षा वर्णनात्मक लिखित स्वरूप की होगी। परीक्षा के लिए 3 घंटे दिए जाएंगे। इसी तरह, कक्षा 12वीं सामान्य संकाय में प्रति वर्ष की स्थापित प्रणाली के अनुसार 100 अंकों की वर्णनात्मक लिखित स्वरूप की 3 घंटे की परीक्षा आयोजित की जाएगी। चूड़ास्मा ने कहा कि शिक्षा विभाग यह भी सुनिश्चित करेगा कि परीक्षा में शामिल होने वाले विद्यार्थी सामाजिक दूरी के नियमों का पालन करें, मास्क का अनिवार्य तौर पर उपयोग करें और परीक्षा केंद्रों पर सैनिटाइजर और थर्मल गन सहित कोरोना संक्रमण के नियंत्रण के दिशा-निर्देशों का पालन हो। शिक्षा मंत्री ने आगे कहा कि मुख्यमंत्री श्री विजय रूपाणी ने विद्यार्थियों में कोरोना संक्रमण को फैलने से रोकने के साथ-साथ उनका भविष्य भी न बिगड़े उस चिंता के साथ परीक्षा की पूरी व्यवस्था करने का प्रेरक सुझाव बैठक में दिया। जिसके अनुसार विद्यार्थियों को कोरोना के इस कठिन समय में उनके स्कूल के आसपास ही परीक्षा केंद्र उपलब्ध कराने के उद्देश्य से परीक्षा केंद्रों की संख्या बढ़ाने का विद्यार्थी हितकारी निर्णय भी श्री रूपाणी ने किया है। इसके लिए इस वर्ष राज्य में परीक्षा केंद्रों की संख्या में बढ़ोतरी की जाएगी। जिन तहसीलों में विद्यार्थियों की पर्याप्त संख्या उपलब्ध होगी और यदि ऐसी तहसीलों में परीक्षा केंद्र नहीं होगा, तो वहां भी परीक्षा केंद्र शुरू किए जाएंगे। विज्ञान और सामान्य संकाय की दोनों परीक्षा के लिए हरेक परीक्षा कक्ष में अधिकतम 20 विद्यार्थियों के बैठने की व्यवस्था की जाएगी। इतना ही नहीं, परीक्षा केंद्रों को सीसीटीवी कैमरों से सुसज्जित किया जाएगा। इस उच्चस्तरीय बैठक में विद्यार्थियों के भविष्य को ध्यान में रखते हुए यह निर्णय लिया गया है कि जो विद्यार्थी कोरोना संक्रमण के कारण परीक्षा में अनुपस्थित रहते हैं या परीक्षा के दौरान कोरोना संबंधित या अन्य अनिवार्य कारणों से अनुपस्थित रहते हैं, वैसे विद्यार्थियों के लिए मूल परीक्षा यानी कि 1 जुलाई, 2021 से शुरू होने वाली परीक्षा के 25 दिनों बाद सभी विषयों की फिर से नई समय सारिणी और नए प्रश्न पत्रों के साथ परीक्षा आयोजित की जाएगी। शिक्षा मंत्री ने कहा कि कक्षा दसवीं के रिपीटर विद्यार्थियों की परीक्षा भी इसी तरह ली जाएगी।