निर्मल बहे फिर से जलधारा, स्वच्छ स्वस्थ रहें मां गंगा का किनारा

संवाददाता लक्ष्मी कांत पाण्डेय वाराणसी| इनका नाम राजेश कुमार शुक्ला है, जो नमामि गंगे,काशी विश्वनाथ ,काल भैरव के नगरी काशीनाथ (बनारस) में मां आदिशक्ति गंगा की जलधारा को अपने मेहनत से साथियों के साथ गंगा तट की साफ सफाई कर निर्मल स्वच्छ गंगा की धारा को वहां पहुंचने वाले भक्तों को समर्पित करते हैं और यही जलधारा काशी विश्वनाथ मां गंगा के प्रत्येक घाटो जैसे मन मणिकर्णिका घाट, अस्सी घाट हरिश्चंद्र घाट राम घाट शीतला घाट जैसे गंगा किनारे को अपने कड़ी मेहनत से स्वच्छ सुंदर और मनमोहक बनाने में अपने जीवन का महत्वपूर्ण योगदान देते आ रहे हैं जिसकी प्रशंसा हमारे देश के यशस्वी प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने कुछ दिन पहले अपने माध्यम से देशवासियों को बतलाया था
राजेश शुक्ला जी का कहना यही है कि हमारी पहचान हमारे राष्ट्र का मान सम्मान मां गंगा के निर्मल जलधारा से है और मां गंगा के स्वच्छ जल धारा से अनेकों रोगों का नाश भी होता है इसलिए मोक्षदायिनी भी कहा जाता है जहां तक आज के समय में जिस तरीके से हमारा देश और समाज प्रगति के पथ पर आगे जैसे जैसे बढ़ रहा है वैसे-वैसे ही मां गंगा की धारा को प्रदुषित किया जा रहा है और कुछ दिनों से भारत सरकार द्वारा गंगा की सफाई और निर्मल जलधारा को स्वच्छ रखने पर जोर दिया गया है और यह हमारा सौभाग्य है कि मैं अपने जीवन का कुछ पल मां पतितं पावनी गंगा के तट पर देकर स्वयंम को धन्य कर लिया है प्रत्येक दिन सुबह उठकर मैं मां गंगा की सेवा में समर्पित होने आ जाता हूं साफ सफाई कर प्रत्येक दिन स्नान करने के उपरांत बाबा काशी विश्वनाथ और श्री काल भैरव समेत कई प्रसिद्ध मंदिरों में दर्शन पुजा पाठ भी कर लेता हूं गंगा किनारे पर आते-जाते अनेकों श्रद्धालुओं से गंगा सफाई अभियान में सहयोग करने के लिए आग्रह भी करता हूं और कितने लोग अपना समय देकर मां गंगा के आशिर्वाद की प्राप्ति करते है
और नमामि गंगे योजना को मजबूती प्रदान करते हैं मैं धन्य हों गया हूं जो इस कार्य के लिए काशी में जन्म लिया और बाबा काशी विश्वनाथ की कृपा का पात्र बना,और महादेव से प्रार्थना करता हूं कि इस कोरोना जैसे महामारी का एक बार फिर जगत के कल्याण हेतु विषपान कर अपने भक्तों को जिवन दान प्रदान करें.

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