गुजरात रिफाइनरी देश का पहला हाइड्रोजन वायु उत्पादन संयंत्र शुरू करेगी: श्रीकांत वैद्य

अहमदाबाद | इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन लिमिटेड के चेयरमैन श्रीकांत माधव वैद्य ने स्वच्छ ऊर्जा की दिशा में आईओसीएल की पहल के रूप में गुजरात रिफाइनरी देश का पहला हाइड्रोजन वायु उत्पादन संयंत्र शुरू करेगी। उन्होंने कहा कि गुजरात के औद्योगिक विकास में एक नया अध्याय लिखते हुए इंडियन ऑयल गुजरात रिफाइनरी ने यह तय किया है कि वह अपनी उत्पादन क्षमता को 18 मिलियन मीट्रिक टन प्रतिवर्ष तक ले जाएगी। यहां की नई औद्योगिक इकाइयां प्रॉलिप्रोपिलनीन, ब्यूटाइल एक्रिलेट और ल्युब्रिकेंट जैसे औद्योगिक इस्तेमाल के महत्वपूर्ण कच्चे माल का उत्पादन करेंगी। वैद्य ने कहा कि फिलहाल आयात किए जाने वाले कोटिंग-कलर, एडहेसिव-गोंद, टेक्सटाइल और अन्य रसायनों के उत्पादन के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण ब्यूटाइल एक्रिलेट का उत्पादन यहां होगा और हमारा देश ऐसे अहम औद्योगिक रसायन के उत्पादन के मामले में आत्मनिर्भर बनेगा।
मुख्यमंत्री सह उद्योग विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री एम.के. दास ने कहा कि आज समूचा विश्व कोरोना महामारी के दौर से गुजर रहा है, ऐसे में हमारी अर्थव्यवस्था को ताकत देने की जरूरत है और उसमें आईओसीएल और गुजरात सरकार के बीच हुए 24 हजार करोड रुपए के निवेश का यह एमओयू आने वाले समय में अर्थतंत्र को गति देगा। इस संदर्भ में उन्होंने कहा कि आईओसीएल और गुजरात सरकार के बीच हुए एमओयू से आगामी दिनों में गुजरात के उद्योगों का विकास होगा, एमएसएमई सेक्टर में भी बढ़ोतरी होगी तथा गुजरात में रोजगार के नए अवसर पैदा होंगे। दास ने कहा कि गुजरात में अब तक हुए एमओयू में बड़ी परियोजनाओं का कार्य एमओयू होने के सिर्फ 11 महीनों में ही पूरा कर दिया गया है। ऐसी परियोजनाओं को गुजरात सरकार का हर संभव सहयोग दिया गया है। उन्होंने विश्वास जताया कि भविष्य में आईओसीएल गुजरात में और भी निवेश करेगी।
बता दें कि सोमवार को केन्द्रीय पेट्रोलिम मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान और मुख्यमंत्री विजय रूपाणी की उपस्थिति में आईओसी और गुजरात के बीच 24 हजार करोड़ रुपए के बीच अनुबंध हुआ है| जिसके अंतर्गत आईओसी वडोदरा में 6 नए प्रोजेक्ट स्थापित करेगी| गुजरात सरकार की ओर से मुख्यमंत्री सह उद्योग विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव एम.के. दास और इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन की ओर से कंपनी के चेयरमैन श्रीकांत माधव वैद्य ने इस एमओयू पर हस्ताक्षर कर उसका आदान-प्रदान किया।

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